अजमेर, 3 सितम्बर। माननीय राज्यपाल श्री कलराज मिश्र शनिवार को अपनी यात्रा के दौरान अजमेर के होटल रामाडा में रूकें।
माननीय राज्यपाल श्री कलराज मिश्र जयपुर जाते समय किशनगढ़ के पास स्थित होटल रामाडा में अल्प समय के लिए रूके। यहां महर्षि दयानन्द सरस्वती विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. अनिल कुमार शुक्ला, संभागीय आयुक्त श्री बी.एल. मेहरा, पुलिस महानिरीक्षक श्री रूपिन्दर सिंघ, जिला कलक्टर श्री अंश दीप तथा पुलिस अधीक्षक श्री चूना राम जाट ने आगवानी की। यहां सांसद श्री भागीरथ चौधरी तथा पुष्कर विधायक श्री सुरेश सिंह रावत ने भी मुलाकात की। अपने संक्षिप्त ठहराव के पश्चात माननीय राज्यपाल श्री मिश्र ने जयपुर के लिए प्रस्थान किया।
उपचार एवं रोकथाम के लिए दिए निर्देश
अजमेर 3 सितम्बर। लम्पी स्किन डिजीज के उपचार एवं रोकथाम के लिए उपखण्ड अधिकारियों को जिला कलक्टर श्री अंश दीप द्वारा निर्देश प्रदान किए गए।
जिला कलक्टर श्री अंश दीप ने बताया कि लम्पी स्किन डिजीज के उपचार एवं रोकथाम के संबंध में उपखण्ड स्तर पर कार्यवाही करने के लिए निर्देशित किया गया है। वर्तमान में गौवंश में लम्पी स्किन डिजीज का प्रकोप चल रहा है। उपखण्ड क्षेत्र स्तरीय नियंत्रण कक्ष की स्थापना की जाए। उपखण्ड कार्यालय, पशुपालन विभाग के द्वारा तथा नगरीय निकायकांजी हाऊस में स्थापित कन्ट्रोल रूम के नम्बर एवं नियुक्त कार्मिकों के नाम तथा कार्मिकोंके मोबाईल नम्बर सभी को उपलब्ध करावें। संचालित नियंत्रण कक्षों की नियमित रूप से समीक्षा की जाए। नियंत्रणकक्ष में प्राप्त शिकायत एवं उसका निस्तारण संबंधी रिपोर्ट प्रतिदिन जिला स्तर पर भिजवाएं।गौशाला परिसर तथा क्षेत्र में रोग से प्रभावित होकर मृत हुए गौवंश का गोपालन विभाग की एडवाईजरी के अनुसार निस्तारण किया जाना सुनिश्चित करे। ताकि रोग का फैलावरोका जा सके।
उन्होने बताया कि उपखण्ड अधिकारी लम्पी स्किन डिजीज के संक्रमण का कारण, रोग के लक्षण, रोकथाम एवं उपचार के संबंध में जानकारी का प्रचार-प्रसार करने की कार्यवाही सुनिश्चित करें। इसके संबंध में पैम्पलेट उपलब्ध कराने के लिए पशुपालन विभाग को निर्देशित किया जा रहा है। स्थानीय स्तर पर जनप्रतिनिधियों के साथ विभिन्न बैठकों के माध्यम से लोगों को जागरूक करने की कार्यवाही की जाए। नगर निकाय क्षेत्रों में कचरे की गाडियों में लगे स्पीकर से लम्पी स्किन रोग लक्षण तथा उपचार रिकार्ड करवाकर प्रचार करवाना सुनिश्चित करें। जिला स्तर पर बने प्रकोष्ठों की वर्ज पर उपखण्ड स्तर पर भी विभिन्न प्रकोष्ठों का गठन किया जाए।
उन्होंने बताया कि निकाय क्षेत्र में संबंधित निकाय अधिकारी एवं पंचायत समिति क्षेत्र में संबंधित विकासअधिकारी, पंचायत समिति के संबंधित क्षेत्रों के सरपंचों से संक्रमित गायों के लिए आईसोलेशन वार्ड की स्थापना कराना सुनिश्चित करेंगे।इसमें समस्त आधारभूतसुविधा उपलब्ध करायी जाए।निराश्रित एवं बीमार गायों को आईसोलेशनवार्ड में पहुंचाने के लिए पशु एम्बूलेंस की व्यवस्था संबंधित निकायों से करायी जाए। यदि एम्बूलेंस उपलब्ध ना हो तो साधारण पिकउप या टेम्पों का किराए पर अधिग्रहरण किया जाए। पशुपालन विभाग से आईसोलेशन वार्ड में पशुओं के उपचार की समुचित व्यवस्था करायी जाएगी।
मोबाईल टीम का गठन
उन्होंने बताया कि नगरपरिषद, नगरपालिका, ग्राम पंचायत स्तर पर संबंधित कार्मिकाें, भामाशाह, एनजीओ, सामाजिक कार्यकताओं, जनप्रतिनिधियों,एवं गौशालाओं से संबंधित व्यक्तियों आदि का सहयोग लिया जाकर आवश्यकता अनुसार वार्ड अथवा ग्राम बर मोबाईल टीमों का गठन किया जाए। गठित टीमों के माध्यम से निराश्रित पशुओं को प्राथमिक उपचार के पश्चात आईसोलेशन वार्ड तक पहुंचाने का कार्य किया जाए। क्षेत्र में सोडियम हाईपोक्लोराईड का छिडकाव सुनिश्चित करें।इसमे संक्रमण के खतरे कोकम किया जा सकेगा। पशुपालन विभाग से कोरसोलिन स्पे्र एवं लम्पी से सम्पूर्ण मेडिकल किट गठित टीमों को उपलब्ध करवाकर संक्रमित गौवंश के घावों पर स्पे्र एवं प्राथमिक उपचार करवाने की व्यवस्था की जाए। आयुर्वेदिक लड्डू स्थानीय स्तर पर बनवाने के लिए आयुर्वेद विभाग, एनजीओ, भामाशाहों से सहयोग लिया जाए। गठित टीमों के माध्यम से गायों को आयुर्वेदिक लड्डू खिलाने का कार्य संपादित कराया जाए।