संसद सत्र का आज दूसरा दिन है। आज एनडीए अपने लोकसभा अध्यक्ष पद के उम्मीदवार के नाम का एलान कर सकता है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, एनडीए फिर से ओम बिरला को यह जिम्मेदारी सौंप सकता है।
विपक्ष को मिलेगा डिप्टी स्पीकर पद
भाजपा सांसद पंकज चौधरी, ओम बिरला के प्रस्तावक हो सकते हैं। ओम बिरला थोड़ी देर में स्पीकर पद के लिए नामांकन कर सकते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि डिप्टी स्पीकर पद विपक्ष को मिल सकता है।
पीएम मोदी विपक्ष से सहयोग मांग रहे हैं, लेकिन हमारे नेता का अपमान हो रहा’
राहुल गांधी ने कहा ‘आज अखबार में लिखा है कि प्रधानमंत्री मोदी ने कहा है कि विपक्ष को सरकार के साथ रचनात्मक सहयोग करना चाहिए। राजनाथ सिंह ने मल्लिकार्जुन खड़गे को फोन किया और उनसे स्पीकर को समर्थन देने को कहा। पूरा विपक्ष कहता है कि हम स्पीकर का समर्थन करेंगे लेकिन परंपरा यह है कि डिप्टी स्पीकर का पद विपक्ष को मिलना चाहिए। राजनाथ सिंह ने कहा कि वे मल्लिकार्जुन खड़गे से वापस बात करेंगे लेकिन उन्होंने अभी तक ऐसा नहीं किया है। पीएम मोदी विपक्ष से सहयोग मांग रहे हैं लेकिन हमारे नेता का अपमान हो रहा है।
हम स्पीकर पद पर सरकार को समर्थन देंगे’
राहुल गांधी ने कहा कि ‘राजनाथ सिंह ने मल्लिकार्जुन खरगे से बात की। हमने राजनाथ सिंह को कहा है कि हम स्पीकर पद पर उनके उम्मीदवार का समर्थन करेंगे, लेकिन डिप्टी स्पीकर का पद विपक्ष को मिलना चाहिए।
ओम बिरला फिर बन सकते हैं लोकसभा अध्यक्ष
भाजपा सांसद ओम बिरला फिर से लोकसभा अध्यक्ष बनाए जा सकते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, ओम बिरला एनडीए उम्मीदवार के तौर पर सुबह साढ़े 11 बजे नामांकन कर सकते हैं।
निर्विरोध हो सकता है स्पीकर का चुनाव
स्पीकर पद को लेकर केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से बात की और अध्यक्ष का चुनाव सर्वसम्मति से कराने की अपील की। राजनाथ सिंह ने कहा कि निर्विरोध चुने जाने की परंपरा कायम रहनी चाहिए। अभी स्पीकर के नाम का खुलासा नहीं किया गया है। नाम सामने आने के बाद खड़गे बाकी INDI गठबंधन दलों से बात करेंगे। कांग्रेस से जुड़े नेताओं का कहना है कि अध्यक्ष के निर्विरोध चुने जाने की संभावना बहुत अधिक है।
राहुल गांधी, एमके स्टालिन से बात क्यों नहीं करते’
भाजपा नेता सीआर केसवन कहते हैं, ‘भारतीय इतिहास के सबसे काले अध्यायों में से एक कांग्रेस द्वारा आपातकाल लागू करना है। आज सबसे उपयुक्त दिन है जब राहुल गांधी को एमके स्टालिन से बात करनी चाहिए। एमके स्टालिन खुद आपातकाल के शिकार थे। राहुल गांधी, जो संविधान की प्रति लेकर चलते दिख रहे हैं, वे एमके स्टालिन से बात कर सकते हैं और समझ सकते हैं कि उन्हें कैसे प्रताड़ित किया गया, कैसे उनके पिता और डीएमके सरकार को कांग्रेस ने बर्खास्त किया। चुनाव प्रचार के दौरान, राहुल गांधी ने अपने भाई एमके स्टालिन को मैसूर पाक दिया और कहा कि उन्हें तमिल लोगों से बहुत लगाव है, लेकिन कलकुरची में अवैध शराब पीने से 58 गरीब लोग, जिनमें से अधिकांश अनुसूचित जाति के थे, मर गए, क्या राहुल गांधी ने अपना मुंह खोला है? राहुल गांधी अपने भाई एमके स्टालिन से बात क्यों नहीं करते और उनसे पूछते कि क्या ये वो सामाजिक न्याय है जो ये गठबंधन (भारत) तमिलनाडु के लोगों को दे रहा है?